व्याख्यान के एक दिन के बाद, एक युवा मलय सहपाठी खुशी में लिप्त हो जाती है। अपने भाग्यशाली साथी पर चढ़ाई करते हुए, वह उत्साह के साथ उसकी सवारी करती है, जिससे उसकी मासूमियत का नुकसान होता है। यह अंतरंग, कच्ची मुठभेड़ युवा जुनून और अन्वेषण के सार को कैद करती है।